सुप्रीम कोर्ट ने मुजफ्फरपुर आश्रय गृह मामले का ट्रायल बिहार से दिल्ली की साकेत कोर्ट में किया ट्रांसफर  

Team Suno Neta Thursday 7th of February 2019 01:07 PM
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सुप्रीम कोर्ट

नई दिल्ली: सुप्रीम कोर्ट ने गुरुवार को मुजफ्फरपुर आश्रय गृह मामले का ट्रायल बिहार से दिल्ली की एक कोर्ट में स्थानांतरित करने का आदेश दिया। सुप्रीम कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश रंजन गोगोई की अगुवाई वाली बेंच ने POCSO (प्रोटेक्शन ऑफ चिल्ड्रेन फ्रॉम सेक्सुअल ऑफेंस) कोर्ट को राष्ट्रीय राजधानी के साकेत में छह महीने के भीतर ट्रायल पूरा करने का निर्देश दिया। सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि न्याय के हित में मामले को ट्रांसफर किया जा रहा है।

मुजफ्फरपुर मामले की जांच कर रही CBI ने मामले को बिहार से बाहर स्थानांतरित करने की मांग की थी। CBI की दलील थी आरोपी एक प्रभावशाली व्यक्ति है वह सबूतों और गवाहों को प्रभावित कर सकता है। नवंबर 2018 में सुप्रीम कोर्ट ने बिहार में मुजफ्फरपुर मामले के अलावा बच्चों, गरीब महिलाओं, भिखारियों और वरिष्ठ नागरिकों के लिए 16 अन्य आश्रय घरों में यौन शोषण के मामलों को CBI को सौंप दिया था।

सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि दिल्ली से पटना दो घंटे का रास्ता है। हम चीफ सेक्रेटरी को भी यहां खड़ा कर सकते हैं। सुप्रीम कोर्ट ने मामले की जांच कर रही CBI टीम की निगरानी कर रहे ज्वाइंट डायरेक्टर एक शर्मा के ट्रांसफर पर कड़ी नाराजगी जताई। चीफ जस्टिस ने कहा कि जब सुप्रीम कोर्ट ने कहा था कि बिना अनुमति के उनका ट्रांसफर नहीं होगा तो यह ट्रांसफर क्यों किया गया?

नवंबर में सुप्रीम कोर्ट ने “मुख्य रूप से अपना काम ठीक से नहीं करने” के लिए बिहार के मुख्य सचिव की उपस्थिति में नीतीश कुमार सरकार को फटकार लगायी थी। कोर्ट ने बिहार सरकार को CBI टीम के किसी भी अनुरोध को पूरा करने का निर्देश दिया था।


 
 

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