हार्दिक पटेल की उम्मीद को 'सुप्रीम' झटका, SC का तुरंत सुनवाई से इनकार 

Shruti Dixit  Tuesday 2nd of April 2019 12:11 PM
(17) (12)

हार्दिक पटेल

नई दिल्ली हार्दिक पटेल की लोकसभा चुनाव 2019 में उतरने की उम्मीदों को हाई कोर्ट के बाद सुप्रीम कोर्ट से भी करारा झटका लगा है। 2015 में गुजरात के मेहसाणा में दंगा भड़काने के मामले में उनकी सजा को निलंबित करने की याचिका पर शीर्ष अदालत ने सुनवाई से इनकार कर दिया है। सर्वोच्च न्यायालट ने कहा कि इस पर तत्काल सुनवाई की कोई जरूरत नहीं है। इसके साथ ही कोर्ट ने इस पर सुनवाई के लिए 4 अप्रैल की तारीख तय की है।

इससे पहले गुजरात हाई कोर्ट ने उनकी सजा को निलंबित करने की याचिका को रद्द कर दिया था। इसका अर्थ ये है कि वो आगामी चुनाव में हिस्सा नहीं ले पाएंगे। हार्दिक ने निचली अदालत के फैसले के खिलाफ गुजरात हाईकोर्ट में अपील की थी । लेकिन वहां से राहत नहीं मिली थी। निचली अदालत ने हार्दिक पटेल को दो साल की सजा सुनाई थी जिसे गुजरात हाईकोर्ट ने बरकरार रखा था। इसका अर्थ ये है कि रिप्रजेंटेशन ऑफ पीपल एक्ट 1951 के तहत वो चुनाव नहीं लड़ सकते हैं। गुजरात हाईकोर्ट के फैसले के खिलाफ हार्दिक ने सुप्रीम कोर्ट में अपील की है जिस पर आज सुनवाई हुई।

इस कानून के तहत दो साल या इससे अधिक की सजा पाए नेताओं को चुनाव लड़ने की अनुमति नहीं है। पाटीदार आरक्षण आंदोलन से उभरे 25 साल के हार्दिक पटेल ने 12 मार्च को कांग्रेस में शामिल होने के बाद जामनगर से चुनाव लड़ने की तैयारी शुरू कर दी थी। हार्दिक पटेल ने कांग्रेस से टिकट का भी आग्रह किया था, लेकिन हाई कोर्ट और अब सुप्रीम कोर्ट के फैसले ने उनकी तैयारियों पर पानी फेर दिया है। जामनगर लोकसभा सीट पर नामांकन के लिए 4 अप्रैल आखिरी तारीख है, ऐसे में शीर्ष अदालत की ओर से मामले की सुनवाई से इनकार से साफ है कि हार्दिक अब चुनावी समर में नहीं उतर सकेंगे।

ध्यान रहे, मेहसाणा जिले के सेशन कोर्ट ने 2015 में विसनगर में पाटीदार आंदोलन के दौरान हुए दंगे और आगजनी के मामले में हार्दिक पटेल को दोषी करार दिया था। बीजेपी विधायक ऋषिकेश पटेल के कार्यालय में तोड़फोड़ और आगजनी के मामले में हार्दिक पटेल और उनके साथियों को दो साल की सजा सुनाई गई थी। गुजरात की राजनीति में पाटीदार समाज की अहम भूमिका है। 2017 में गुजरात विधानसभा चुनाव से पहले पाटीदार एकतरफा बीजेपी के लिए मतदान करते थे। लेकिन हार्दिक पटेल के उभार के बाद हालात में परिवर्तन हुआ। हार्दिक पटेल बहुत तेजी से गुजरात में अपनी जगह बना रहे थे जो बीजेपी के लिए खतरे की घंटी की तरह थी।


 
 

रिलेटेड

 
 

अपना कमेंट यहाँ डाले